न्यूज डेस्क, अमर उजाला, उदयपुर
Published by: रवींद्र भजनी
Updated Wed, 15 Jun 2022 07:27 PM IST
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उदयपुर एसीबी की टीम ने मंगलवार देर शाम बडी कार्रवाई को अंजाम दिया। टीम ने औषधि नियंत्रक धीरज शर्मा और सहायक औषधि नियंत्रक चैतन्य प्रकाश पंवार के साथ ही एक दलाल को गिरफ्तार किया है। आरोपी एक दवा दुकान पर लेखा-जोखा मांगने और नार्कोटिक्स का केस दर्ज करने की धमकी देकर एक लाख रुपये की रिश्वत मांग कर रहे थे। फरियादी ने पहले आठ हजार रुपये दिए और फिर एसीबी को शिकायत कर दी।
रिश्वत के 22 हजार रुपये उदयपुर के मधुबन स्थित ब्रिट्रिश फार्मा पर देना तय हुआ। इस पर एसीबी की टीम ने ट्रेप करते हुए दोनों अधिकारियों के साथ एक दलाल को रंगे हाथों गिरफ्तार किया है। एसीबी डीजी बीएल सोनी ने बताया कि एसीबी की उदयपुर यूनिट को परिवादी की शिकायत मिली थी कि उसकी मेडिकल की दुकान पर दवाइयों का लेखा-जोखा मांगकर धमकाया जा रहा था। नार्कोटिक्स का केस करने का डर दिखाकर रिश्वत मांगी जा रही है।
शिकायत मिलने पर डीआईजी आरपी गोयल और एसपी डॉ. राजीव पचार के निर्देशन में उदयपुर यूनिट के एएसपी उमेश ओझा के नेतृत्व में शिकायत का सत्यापन हुआ। सत्यापन के दौरान आरोपियों ने 8 हजार रुपये लिए। सत्यापन होने पर सीआई हरीशचन्द्र सिंह एवं उनकी टीम ने ट्रैप किया। चैतन्य प्रकाश पंवार और धीरज शर्मा के कहने पर रिश्वत की राशि लेने के लिए दलाल अंकित जैन को मेडिकल शॉप ब्रिटिश फार्मा मधुवन उदयपुर पर भेजा गया और उसे 22 हजार रुपये की रिश्वत लेते रंगे हाथों पकड़ा।
एसीबी की टीम आरोपियों के अन्य ठिकानों पर भी छानबीन कर रही है। टीम को और बडे खुलासे होने की संभावना है। एसीबी की टीम इन लोगों के साथ और कौन-कौन शामिल हैं और शहर में इनके और कितने दलाल हैं, इसका भी पता लगा रही है। विश्वस्त सूत्रों की माने तो रिश्वत का कारोबार कई समय से इस विभाग में चल रहा है। जांच में अधिकारियों के अलावा निचले स्तर के कर्मचारियों की मिलीभगत का भी खुलासा हो सकता है।